पंचायत चुनाव मे होते देरी से उम्मीदवारों मे मायूशी
wednesday 31 Mar, 11.28 AM
अयाज़ महमूद रूमी
इस बार राज्य निर्वाचन आयोग ने पंचायत चुनाव की तैयारी तो समय पर शुरू कर दी, लेकिन चुनाव में ईवीएम के इस्तेमाल को लेकर पेंच अभी तक फंसा है। इस वजह से पंचायत चुनाव का निर्धारित समय पर होना अब असंभव होता जा रहा है।
खास किस्म की ईवीएम खरीद के लिए चुनाव आयोग की अनुमति जरूरी
बिहार के पंचायत चुनाव में पहली बार ईवीएम के इस्तेमाल का निर्णय राज्य निर्वाचन आयोग ने लिया है। इस फैसले पर राज्य सरकार की भी सहमति है, लेकिन मुश्किल यह है की पंचायत चुनाव में जिस ईवीएम का इस्तेमाल होना है वह बिहार में उपलब्ध नहीं है। पंचायत चुनाव में एक साथ एक ही मतदाता 6 पदों के लिए मतदान करता है। पंचायत चुनाव के लिए खास किस्म की मल्टी पोस्ट ईवीएम का इस्तेमाल होना है। इस ईवीएम में एक ही कंट्रोल यूनिट से एक से अधिक बैलेट यूनिट जोड़ी जा सकती है। इसके जरिए प्रोसिडिंग ऑफिसर एक बार में मतदाता को सभी छह पदों के लिए मतदान करने की अनुमति दे सकेगा। राज्य सरकार ने ईवीएम की खरीद के लिए राशि आवंटित कर दी है। ईवीएम बनाने वाली सरकारी कंपनी आपूर्ति के लिए भी तैयार है, लेकिन इसके लिए केंद्रीय चुनाव आयोग की अनुमति जरूरी है। केंद्रीय चुनाव आयोग इस पर अब तक सहमति नहीं दिया है।
हाई कोर्ट में चल रही है मामले की सुनवाई
ईवीएम खरीद को लेकर चल रहे गतिरोध का मामला राज्य निर्वाचन आयोग ने पटना उच्च न्यायालय में भी लाया है। इस मामले में अब तक हुई सुनवाई से कोई नतीजा नहीं निकला है। 6 अप्रैल को मामले की अगली सुनवाई है। इस बीच ईवीएम विवाद को लेकर राज्य निर्वाचन आयोग और केंद्रीय चुनाव आयोग के बीच कोई नई प्रगति भी नहीं हुई है। पूरा मामला अब कोर्ट में चल रही सुनवाई पर टिका दिख रहा है। गौरतलब है कि राज्य निर्वाचन आयोग ने बिहार में अप्रैल और मई महीने के दरमियान 10 चरणों में चुनाव कराने की तैयारी कर रखी है। लेकिन अब इसे अमलीजामा पहनाना नामुमकिन है। वजह यह कि ईवीएम की खरीद बहुत जल्द होने की उम्मीद नहीं है। अगर ईवीएम का मसला सुलझ भी जाता है और खरीद प्रक्रिया पूरी होती है तो इसमें अप्रैल गुजर जाने की उम्मीद है।
ईवीएम को मतदान के लिए तैयार करने में भी लगेगा वक्त
ईवीएम को मतदान प्रक्रिया के लिए तैयार करने की एक निर्धारित प्रक्रिया है। इसके लिए कई चरणों में ईवीएम की जांच और चुनाव कर्मियों को इसका प्रशिक्षण दिया जाना अनिवार्य है। स्पष्ट है कि ईवीएम खरीद लेने के बाद भी इस प्रक्रिया में महीने भर का वक्त तो लग ही जाएगा। इस तरह मई का महीना भी गुजर सकता है। जून के बाद राज्य में बारिश का मौसम भी शुरू हो जाता है। बारिश और बाढ़ का मौसम शुरू होने के बाद राज्य के कई हिस्सों में चुनाव संपन्न कराना बड़ी चुनौती बन जाएगा।
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